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पिछले दस वर्षों में आईटी क्षेत्र में नए लोगों के लिए वेतन वृद्धि उनके सीईओ की तुलना में बेहद कम रही है।
बिजनेस टुडे के एक विश्लेषण से पता चला है कि सीईओ के वेतन में लगभग 1500 फीसद की वृद्धि हुई है तो नई भर्तियों में 45 फीसद से थोड़ा अधिक। आईटी कंपनियों के सीईओ और फ्रेशर्स के औसत सैलरी पैकेज की समीक्षा के अनुसार, पिछले दस वर्षों में सीईओ के वेतन में 1492.27 फीसद की आश्चर्यजनक वृद्धि हुई है, जबकि फ्रेशर्स की आय में केवल 46.94 फीसद की वृद्धि हुई है।
इसके अतिरिक्त सीईओ के औसत वेतन में 1,449.02 फीसद की वृद्धि हुई है, जबकि नए लोगों के लिए सामान्य वेतन में केवल 40 फीसद की वृद्धि हुई है। सीईओ और सबसे निचले पायदान पर बैठे लोगों के बीच वेतन में यह विसंगति उद्योग के दिग्गजों पर हावी नहीं है।
इंफोसिस के पूर्व सीएफओ और बोर्ड के सदस्य टी.वी. मोहनदास पई ने बिजनेस टुडे को बताया, ‘फ्रेशर्स के लिए कंपनसेशन में कोई बढ़ोतरी नहीं की गई है। उन्हें वही 3.5 से 4 लाख रुपये दिए जा रहे हैं, जो कंपनियां 10-12 साल पहले दे रही थीं। इस दौरान, प्रबंधकों और वरिष्ठों का वेतन 4 गुना, 5 गुना, 7 गुना तक बढ़ गया है।”
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एचसीएल टेक के पूर्व सीईओ विनीत नायर ने इसी तरह के विचार साझा किए। उन्होंने कहा, “यह एक दुर्भाग्यपूर्ण मूल्यह्रास है और एक संगठन के विकास में कर्मचारियों की भूमिका की समझ है। हम प्रबंधन के मूल सिद्धांतों को नहीं समझ पाए हैं। प्रबंधन के मूल सिद्धांत यह हैं कि अगर कंपनियों को अपने मार्केटिंग बजट का एक हिस्सा भी खर्च करना है तो अपने कर्मचारियों को उत्साहित करने, प्रोत्साहित करने और सक्षम करने से आपको 10 गुना रिटर्न मिलेगा।”
टीमलीज डिजिटल रिसर्च के डेटा से पता चलता है कि सीईओ के कंपनशेसन की तुलना एक ही संगठन में नए के वेतन से करने पर दोनों स्तरों पर वेतन कितना अनुपात है। इंफोसिस में यह अनुपात 1973, विप्रो में 2111, एचसीएल टेक्नोलॉजीज में 1020, टेक महिंद्रा में 644 और टीसीएस में 619 है।